गुरुवार, 1 जुलाई 2010

अरोड वंश की कुल 962 अल्‍लों का संकलन किया जा सका है( भाग - 6) ... खत्री सोहन लाल बजाज



पवर्ग से शुरू होने वाले अल्‍ल .............

पसरीचे , पवेजे , पनबाटी , पपडेजे , पंचनदे , परूथी , पजांचे , पजांजही , पंचरदे , पजंमने , परेयानी , पनेरट , परचंडा , पंजे , पडतने , पनवानी , पहजा , पयलठे , पालसिया , पाहोय , पायेहजी , पाहूजे , पातलिया , पुनतेजे , पुजारे , पुलपलेजेते , पुछी , पीडी , पेलानी , पोपले , पोपलाया , पोजे , पोपा , पोहली , पोतरे , पुणेजा , पटोदी , पमणोजा , पास्‍तोला , पाण्‍पोला , प्रियलाझी , पधीजा , फतोहे , फडके , फुटेले , फुलचढा , फोबचे , फलानी , फेरिया , फासेला , बतरे , बठले , बडेजे , बजाज , बब्‍बर , बरेज , बगाई , बदबेजा , बदानी , बाघले , बांबरी , बांगे , बुट्ढी , बेराया , बुधरेजे , बलुजे , बड्यानी , बर्मन , बडतने , बनेले , बलवानी , बलन्‍दी , बाचला , बदेराजे , बहदानी , बलाने , बबेजे , बग्‍गे , बेगानिचा , बलूचे , ब्रह्मवर , बागीचा , बायड , बबेजी , बुधेजा , बांदे , बांगपालिये , बाजूनेंगे , बिहीजे , बिल्‍ल , बागवाती , बोटी , बेहड , बोटे , बोगरे , बोहरा , बटीक , बजाई , भगतानी , भयासनिये , भहकानी , भरमेजे , भडेजे , भवाइये , भंगरेजे , भठेजे , भट्यानी , भकरिये भमानी ,भसीजे , भमरेजे , भभवानिये , भकनेजे , भनीजे , भवेसेजह , भभंवई , भभरानी , भटनेरी , भभराने , भगेडे , भंम्‍भेले , भडनाबी , भडारिये , भाटिया , भागजई , भातेफतहेजा , भानिये , भाठे , भिराणी , भिंड , भालिये , भावने , भालने , भारवाही , भुडानी , भुड्डी , भूतने , भुलाने , भुचानी , भुटेजा , भुडिया , भुगी , भुड्डी , भूसे , भुसरी , भुट्ठे , भेदानी , भोरानिये , भोलाने , भोडे , भोरपालने , भायानी , भुसाझी , मरग , मर्गचावने , महाबंद , मनगंदे , मनीचे , मगवाने , मरकने , मलिक , महंदीरते , मगंलानी ,मदान , मच्‍छड , मक्‍कड , मनिहारा , मनह , मलूजे , मलहोत्रे , मतोके , मठरे , मझटयार , मकरानी , महगड , मगलूजा , मगमछेर , मरवाइये , मडनेजे , मगलानी , महतानी , मंजी , मनडे , मडीजे , मलर , मकानी ,मानकटाहले ,मओंपोत्रे, मानिये , माटे , माठ , मक्‍मा , मरानमगों , मिठे , मुरादाबादी , मुधीजे , मुखरे , मुझारने , मुरादे , मुहंवाल , मुजाल , मुखीजे , मुजराल , मीरांरन , मणूजा , माणकटेला , मेकमदन , मेदराह , मेंडे , मोलीवाडे , मोहरिये , मोगले , मोलरे , मोले , मोंगे , मोटे , मोरणी , मोरलिया , मुअेजा , मुंडा , मुराका , मीठाणी , मुदियान , मुराला , मुलतानी ।।




2 टिप्‍पणियां:

शारदा अरोरा ने कहा…

पढ़ कर जानकारी हो रही है । हाँ संगीता जी , पपणेजे नहीं पपनेजे होता है और आप शायद अरोड़ा लिखना चाह रही हैं ।

Unknown ने कहा…

आप बहुत ही महत्वपूर्ण कार्य कर रही हैं

धन्यवाद

मैं भी एक विराट उपक्रम में लगा हूँ ...,..आपके योगदान की आवश्यकता ज़रूर पड़ेगी.........

आशा है आप मार्ग दर्शन एवं सहयोग करेंगी........

क्‍या ईश्‍वर ने शूद्रो को सेवा करने के लिए ही जन्‍म दिया था ??

शूद्र कौन थे प्रारम्भ में वर्ण व्यवस्था कर्म के आधार पर थी, पर धीरे-धीरे यह व्यवस्था जन्म आधारित होने लगी । पहले वर्ण के लोग विद्या , द...